स्ट्रेस और एंग्जायटी आपको अंदर से बना सकती है खोखली, जाने कैसे करें प्रबंधन ?
स्ट्रेस और एंग्जायटी मस्तिष्क से जुड़ा एक गंभीर और दीर्घकालिक विकार है, जो मानसिक स्वास्थ्य को गंभीर रूप से प्रभावित कर देता है | आज के समय में अपनी जीवनशैली को स्वस्थ बनाये रखना प्रत्येक व्यक्ति के लिए बेहद ज़रूरी होता है | हमें अपनी मेन्टल हेल्थ का ख्याल उसे प्रकार से रखना चाहिए, जिस प्रकार से हम अपने शरीरिक स्वास्थ्य का रखा करते है, क्योंकि एक व्यक्ति के मानसिक और शारीरिक स्वास्थ्य का ख्याल रखना बेहद ज़रूरी होता है | लेकिन कुछ लोग ऐसे भी होते है, जो अपनी निजी ज़िन्दगी में व्यस्त होने के कारण अपने स्वास्थ्य का बिलकुल भी ख्याल नहीं रख पाते है, जिसकी वजह से उन्हें कई तरह की समस्या से गुजरना पड़ जाता है | जिनमें स्ट्रेस और एंग्जायटी की समस्या होना आम है, जिसका अक्सर लोग शिकार हो जाते है |
स्ट्रेस और एंग्जायटी से हमारे सेहत पर कई तरह के नकारात्मक प्रभाव पड़ सकते है, जैसे कि मूड का स्विंग होना, चिड़चिड़ापन, हर समय गुस्से में रहना, हर समय सिरदर्द होने की शिकायत आदि, जो आपके जीवन की गुणवत्ता को नकारात्मक रूप से प्रभावित कर सकती है और आपके बनाये कामो या फिर रिश्तों को भी ख़राब कर सकती है | यदि आप में कोई भी व्यक्ति ऐसे ही परिस्थिति से गुजर रहे है तो इलाज के लिए आप मानस हॉस्पिटल से परामर्श कर सकते है | स्ट्रेस और एंग्जायटी एक गंभीर विकार है, लेकिन घर बैठे आसानी से इसको प्रबंधन किया जा सकता है, आइये जानते है ऐसे की टिप्स के बारे में जो स्ट्रेस और एंग्जायटी की समस्या को करें प्रबंधन :-
रोज़ाना मेडिटेशन करें
मेडिटेशन करना प्रत्येक व्यक्ति के मानसिक स्वास्थ्य के लिए बेहद फायदेमंद होता है | मेडिटेट करने के लिए सबसे पहले किसी भी शांत जगह में बैठ जाएं, जहाँ हलचल काफी कम हो | इसके बाद अपनी दोनों आंखों को बंद कर लें और अपनी सांसों की और ध्यान लगाने की कोशिश करें | ऐसा करने से आपका मन काफी शांत रहता है और मन में उल्टे विचार काफी कम आते है | इसकी साथ ही यह किसी भी परेशानी को आसानी से हल करने में मदद भी करता है |
जर्नलिंग करें
जर्नलिंग एक ऐसी प्रक्रिया होती है जिसमें आप अपने अंदर के भावनाओं को बाहर निकाल देते है | जिसे आप किसी भरोसेमंद व्यक्ति के साथ अपने विचार विमर्श करके या फिर एक नोटबुक पर लिखकर करते है | जर्नलिंग में नोटबुक पर लिखने को सबसे बेहतर तरीका माना जाता है | जर्नलिंग करने के लिए आपको एक नोटबुक और पेन की ज़रुरत पड़ सकती है, उस डेयरी में आप उन सभी भावनाओं को लिख दें, जो आपको सबसे अधिक परेशान कर रही है और जिसके बारे में किसी से बात करने में भी आप झिझकते है | ऐसा करने के बाद आपका मन काफी हल्का महसूस करेगा और स्ट्रेस और एंग्जायटी की समस्या को भी कम करने में मदद मिल सकती है |
किसी भरोसेमंद व्यक्ति से बात करें
वैसे तो स्ट्रेस और एंग्जायटी से जूझ रहे व्यक्ति अक्सर अपनी परेशानियों के बारे में किसी से भी बात करने से झिझकता है, लेकिन यदि आप अपने किसी भरोसेमंद व्यक्ति के साथ अपनी परेशानियों के बारे में बात करेंगे, तो इससे आपको काफी राहत मिल सकती है और आपको अपनी परेशानियों का हल करने में काफी मदद मिलेगी | इसलिए कभी भी खुद को अकेला न समझें और कोशिश करें कि अपनों के साथ बातचीत बरकरार रखें |
रोज़ाना एक्सरसाइज करें
प्रतिदिन 20 से 25 मिनट के लिए एक्सरसाइज करना शारीरिक स्वास्थ्य के साथ-साथ मानसिक स्वास्थ्य के लिए भी बेहद फायदेमंद होता है | लगातार एक्सरसाइज का अभ्यास करने से शरीर में हैप्पी हार्मोन का उत्पादन सबसे अधिक होती है, जो आपके मूड को बेहतर बनाने में मदद करती है | अधिक मात्रा में हैप्पी हार्मोन होने के कारण शरीर में कार्टिसोल जा उत्पादन काफी कम होता है, जिससे स्ट्रेस और एंग्जायटी की समस्या को कम करने में मदद मिलती है | इसलिए कोशिश करें कि रोज़ाना आप पूरे दिन में कम से कम 20 से 25 मिनट के लिए एक्सरसाइज का अभ्यास ज़रूर करें | इसके लिए आप चाहे तो प्रतिदिन वाकिंग या फिर रनिंग भी कर सकते है, यह आपके मूड के लिए बेहतर कारगर साबित हो सकता है |
स्ट्रेस और एंग्जायटी एक गंभीर और दीर्घकालिक समस्या है, जिसका समय पर इलाज करना एक पीड़ित व्यक्ति के लिए बेहद महत्वपूर्ण है, क्योंकि स्थिति गंभीर होने पर यह समस्या डिप्रेशन का कारण भी बन सकती है | इसलिए स्ट्रेस और एंग्जायटी से जुड़े लक्षणों का दिखते ही तुरंत डॉक्टर के पास जाएं और अपना इलाज करवाएं | इलाज के लिए आप डॉक्टर राजीव गुप्ता से भी परामर्श कर सकते है |
डॉक्टर राजीव गुप्ता मानस हॉस्पिटल के सीनियर कंसल्टेंट और पंजाब के बेहतरीन सायकार्टिस्ट में से एक है, जो स्ट्रेस और एंग्जायटी की समस्या का इलाज करने में आपकी पूर्ण रूप से मदद कर सकते है | इसलिए आज ही मानस हॉस्पिटल की ऑफिशियल वेबसाइट पर जाएं और परामर्श के लिए अपनी अप्पोइमेन्ट को बुक करें | इसके अलावा आप चाहे तो वेबसाइट पर दिए गए नंबरों से संपर्क कर सीधा संस्था से बातचीत कर सकते है |